मानसून को लेकर मौसम विभाग की ओर से भविष्यवाणी की गई है। इस भविष्यवाणी में मौसम विभाग ने बताया है कि इस वर्ष मानसून सामन्य रहेगा और किसानों के लिए मददगार साबित होगा। आईएमडी के महानिदेशक मृत्युंजय मोहपात्रा ने इस बात की जानकारी देते हुए बोला कि दक्षिण पश्चिम मानसून के कारण उत्तर और दक्षिण हिंदुस्तान में सामान्य बारिश हो सकते हैं।
उन्होंने बताया कि इस वर्ष मानसून के कारण मध्य हिंदुस्तान में सामान्य से अधिक बारिश होने की आसार है जबकि पूर्वी और पश्चिमी हिस्सों में बारिश सामान्य से कम देखने को मिल सकता है।
आईएमडी के निदेशक के अनुसार जून में बारिश सामान्य रहेगी। इस दौरान किसान अपने फसल की बुआई करते हैं। उन्होंने बोला कि इस वर्ष जून से सितंबर तक देश में लंबी अवधि के औसत (एलपीए) में करीब 101 प्रतिशत बारिश होने की आसार है। मौसम विभाग के अनुमान के अनुसार बारिश में चार प्रतिशत का अंतर देखने को मिल सकता है।
मौसम विभाग ने बताया है कि पूर्व और उत्तर पूर्व के कुछ राज्यों में सामान्य से कम बारिश हो सकती है। इन राज्यों में बिहार का पूर्वी हिस्सा, पश्चिम बंगाल के कुछ जिले, असम, मेघालय, जम्मू और कश्मीर , लद्दाख, हिमाचल प्रदेश के ऊपरी हिस्से में, दक्षिण पश्चिमी पठार, केरल का कुछ भाग और तमिलनाडु के अंदरूनी जिले शामिल हैं।
बारिश को लेकर मौसम विभाग इस वर्ष एक नयी पहल की आरंभ की है। विभाग की ओर से चार महीने के मानसून में बारिश को लेकर हर महीने पूर्वानुमान जारी करेगा। इस पूर्वानुमान में हर प्रदेश और हर शहर में होने वाली बारिश का विवरण दिया जाएगा।
केरल में मानसून को लेकर मौसम विभाग ने बोला कि तीन जून को दस्तक दे सकता है। मौसम विभाग ने बताया है कि कर्नाटक के तटीय इलाके में चक्रवाती संरचना के कारण मानसून की गति धीमी पड़ गई है। हालांकि यह धीरे-धीरे जोर पकड़ लेगा।