रेलवे मालगाड़ी और यात्री गाडि़यों के अलावा पर्यटन क्षेत्र को समर्पित एक तीसरे अनुभाग की शुरुआत कर रहा है। इसके तहत करीब 190 थीम आधारित ट्रेनें चलाई जाएंगी। इन्हें ‘भारत गौरव ट्रेन’ नाम दिया गया है। रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने मंगलवार को यह जानकारी दी।
रेल मंत्री ने संवाददाता सम्मेलन में कहा कि इन ट्रेनों का संचालन निजी क्षेत्र और आइआरसीटीसी, दोनों ही कर सकते हैं। उन्होंने कहा, ये नियमित ट्रेनें नहीं हैं, जो समय-सारणी के हिसाब से चलें। हमने इन थीम-आधारित ट्रेनों के लिए 3,033 रेल डिब्बों या 190 ट्रेनों की पहचान की है। यात्री और मालगाड़ी अनुभाग के बाद हम भारत गौरव ट्रेनों के लिए पर्यटन सेगमेंट शुरू कर रहे हैं। ये ट्रेनें भारत की संस्कृति और धरोहर को दर्शाएंगी। हमने आज से उनके लिए आवेदन मंगाना शुरू कर दिया है।
उन्होंने कहा कि भारत गौरव ट्रेनों के लिए फिलहाल आइसीएफ कोचों को चिह्नित किया गया है। लेकिन भविष्य में मांग के आधार पर वंदे भारत, विस्टा डोम और एलएचबी कोचों को भी शामिल किया जा सकता है। उन्होंने कहा कि किसी व्यक्ति से लेकर सोसाइटी, ट्रस्ट, टूर आपरेटर या यहां तक कि राज्य सरकार इन ट्रेनों के लिए आवेदन कर सकती है। इन ट्रेनों को विशेष पर्यटन सर्किट में थीम के आधार पर चलाना होगा।
वैष्णव ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने यह विचार रखा और थीम पर आधारित ट्रेनों का सुझाव दिया, ताकि देश की जनता भारत की धरोहर को समझ सके और उसे आगे बढ़ा सके।
केंद्रीय मंत्री के अनुसार, इन ट्रेनों का किराया व्यावहारिक रूप से यात्रा संचालक तय करेंगे, लेकिन रेलवे सुनिश्चित करेगा कि भाड़े में विसंगतियां नहीं हों। उन्होंने कहा कि ओडिशा, राजस्थान, कर्नाटक और तमिलनाडु जैसे राज्यों की सरकारों ने इन ट्रेनों में रुचि दिखाई है। वैष्णव ने आगे कहा कि पर्यटन क्षेत्र के पेशेवरों का उपयोग पर्यटन सर्किटों को विकसित करने और भारत की विशाल पर्यटन क्षमता का दोहन करने के लिए थीम-आधारित ट्रेनों को चलाने में किया जाएगा।