बिहार के पूर्व सीएम और हिंदुस्तान आवाम मोर्चा के प्रमुख जीतनराम मांझी ने मोदी गवर्नमेंट से अलग होने की अफवाहों पर विराम लगा दिया. बुधवार को मीडिया से वार्ता में उन्होंने स्पष्ट रूप से बोला कि उनके विरुद्ध किसी तरह की षड्यंत्र नहीं हो रही है और न ही वह एनडीए से अलग होने की योजना बना रहे हैं. उन्होंने बोला कि वह मरते दम तक प्रधान मंत्री नरेन्द्र मोदी का साथ नहीं छोड़ेंगे. यह सब राजद की तरफ से फैलाया हुआ असत्य है. यदि मेरे विरुद्ध कोई षड्यंत्र करेगा भी तो हम उसके नतीजे भुगतने के लिए तैयार हैं.
हमें नरेंद्र मोदी जी पर पूरा भरोसा: जीतनराम मांझी
मीडिया से बात करते हुए मांझी ने बोला कि पीएम मोदी जी ने हम पर जो भरोसा जताया है, वो बहुत बड़ी बात है. जब एक आदमी जो पहली बार चुनाव जीत कर आता है, उसे एमएसएमई जैसा जरूरी विभाग सौंपा जाता है, तो ये एक बड़ी जिम्मेदारी है. हमें नरेंद्र मोदी जी पर पूरा भरोसा है, और हम उनके साथ हैं.”
बिहार में हम अपनी ताकत दिखाएंगे
बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री ने विधानसभा चुनाव को लेकर चल रही तैयारियों जिक्र करते हुए कहा, “बिहार में हम अपनी ताकत दिखाएंगे ऐसा मैंने मीडिया से ऐसा कुछ नहीं कहा. मैं अपने कार्यकर्ताओं से कहता हूं कि आप ही हमारी ताकत हैं. झारखंड में हमारी ताकत का ठीक इस्तेमाल नहीं हुआ, यदि हमारी सहायता ली जाती तो एनडीए को अधिक सीटें मिल सकती थीं. दिल्ली में भी मैंने इस बारे में बात की थी. लेकिन वहां भी हमारी सहायता नहीं ली गई. यदि हमें एक सीट मिलती तो हमारे कार्यकर्ताओं का उत्साह बढ़ता और हम अधिक मेहनत करते. हमारी सहायता से एनडीए को लाभ होता. लेकिन, हमारी बात नहीं मानी गई.
अफसोस है कि झारखंड में एनडीए हार गई
वहीं, उनसे जब पूछा गया कि क्या आप झारखंड में एनडीए की हार से दुखी हैं, तो उन्होंने बोला कि हम दुखी नहीं हैं, लेकिन हमें अफसोस है कि झारखंड में एनडीए हार गई. यदि हम और मेहनत करते तो शायद यह स्थिति नहीं आती. हम भगवान से प्रार्थना करते हैं कि एनडीए की गवर्नमेंट बने और यदि मुझे सहायता की आवश्यकता पड़ी तो मैं हमेशा योगदान देने के लिए तैयार हूं.
नीतीश कुमार के नेतृत्व में बनेगी NDA सरकार
उन्होंने बिहार चुनाव के बारे में भी साफ किया कि कोई नया विकल्प नहीं होगा. हम सब मिलकर तय कर चुके हैं कि बिहार का नेतृत्व नीतीश कुमार जी के पास रहेगा, क्योंकि उनका काम बहुत सराहनीय है. हम भी 44 वर्ष से उनके साथ काम कर रहे हैं और उनका नेतृत्व ही बिहार के लिए सबसे अच्छा है.